
जम्मू। पिछले कुछ दिनों से देश के अधिकांश राज्यों में भारी बारिश हो रही है। महाराष्ट्र, छत्तीसगढ़ सहित सभी राज्यों में बारिश जारी है। वहीं जम्मू-कश्मीर भी इससे अछूता नहीं है। हिमाचल में बादल फटने से जहां भारी तबाही हुई थी वहीं अब जम्मू-कश्मीर के किश्तवाड़ में बादल फट गया है, जिससे कम से कम पांच लोगों की मौत हो गई और ४० से अधिक लोग लापता हो गए। किश्तवाड़ जिले में बुधवार तड़के बादल फटने से 40 से अधिक लोग लापता हो गए हैं। जिसके बाद बचाव अभियान शुरू कर दिया गया है। अभी तक कई लोगों के शव मिल चुके हैं। जानकारी के अनुसार, बुधवार तड़के किश्तवाड़ जिले के होंजर दचान गांव में बादल फट गया। इसमें करीब 40 लोग लापता बताए जा रहे हैं। अभी तक पांच लोगों के शव निकाल लिए गए हैं। बचाव अभियान जारी है। आपको बता दें कि जम्मू क्षेत्र के अधिकांश हिस्सों में पिछले कुछ दिनों से भारी बारिश हो रही है। जुलाई के अंत तक और बारिश की चेतावनी जारी की गई है। साथ ही किश्तवाड़ में अधिकारियों ने जलाशयों और स्लाइड-प्रवण क्षेत्रों में रहने वाले लोगों को सतर्क रहने के लिए कहा है। मौसम विभाग ने आने वाले दिनों में भारी बारिश की भविष्यवाणी की है, नदियों और नालों में जल स्तर बढऩे की उम्मीद है, जो नदियों, नालों, जल निकायों और स्लाइड-प्रवण क्षेत्रों के पास रहने वाले निवासियों के लिए खतरा पैदा कर सकता है। जानकारी के अनुसार किश्तवाड़ जिले में भारी बारिश से ज्यादातर नदियों और नालों में जल स्तर बढ़ गया है और बादल फटने से भी जल निकायों पर असर पड़ा है। पहाड़ी इलाका होने की वजह से भूस्खलन होने का खतरा बढ़ गया है। इसी को देखते हुए जिला पुलिस किश्तवाड़ की तरफ हैल्प डेस्क भी लगाया गया है और लोगों को घर रहने के लिए कहा है। साथ ही लोगों के लिए कई हैल्पलाइन नंबर भी जारी किए हैं। इन नंबर पर फोन कर लोग किसी भी मुश्किल में मदद मांग सकते हैं।
अमित शाह ने की उपराज्यपाल और डीजीपी से बात
केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने कहा कि उन्होंने किश्तवाड़ में बादल फटने के संबंध में जम्मू-कश्मीर के उपराज्यपाल और डीजीपी से बात की है। एसडीआरएफ भी मौके पर पहुंच रही है। एसडीआरएफ, सेना और स्थानीय प्रशासन की तरफ से बचाव अभियान जारी है। उन्होंने कहा कि हमारी प्राथमिकता ज्यादा से ज्यादा लोगों की जान बचाना है।
हिमाचल में भूस्खलन में कई गाडिय़ां दबी, शिमला में सड़कें बंद और पानी सप्लाई प्रभावित
हिमाचल प्रदेश में रेड अलर्ट के बीच शिमला में भारी बारिश से भूस्खलन और चट्टानें गिरने का सिलसिला जारी है। शिमला के पंथाघाटी में भारी बारिश से भूस्खलन हुआ है। मलबे में कई गाडिय़ां दब गई हैं। सड़कें बंद हो गई हैं और पानी ठप सप्लाई भी प्रभावित हो गई है।
राजधानी शिमला में शहर में मंगलवार रात से जारी बारिश से भारी नुकसान हुआ है। कई गाडिय़ां मलबे में दब गई है। रास्ते बंद है। पानी की सप्लाई भी बंद हो गई है। इससे पहले, हिमाचल प्रदेश में रेड अलर्ट के बीच शिमला और लाहौल-स्पीति में भारी बारिश से भूस्खलन और चट्टानें गिरने का सिलसिला मंगलवार को भी जारी रहा। लाहौल-स्पीति में जगह-जगह भूस्खलन से करीब 60 पर्यटक व स्थानीय वाहन फंस गए हैं। वहीं, चंबा जिले में भरमौर-पठानकोट एनएच पर चनेड़ के पास देर रात भारी बारिश से हुए भूस्खलन को हटाने में जुटी जेसीबी का हेल्पर साथ में बह रहे नाले के तेज बहाव में बह गया। एसडीएम नवीन तनवर ने बताया कि सुनील कुमार निवासी सिरकुंड पंचायत गांव कुडगल की तलाश की जा रही है। लाहौल-स्पीति के छह नालों में बाढ़ आई।