जम्मू-कश्मीर में राष्ट्र विरोधी और अलगाववादी गतिविधियों में शामिल और आतंकवादी गतिविधियों का समर्थन करने वाले मुस्लिम लीग जम्मू कश्मीर मसर्रत आलम गुट को प्रतिबंधित संगठन घोषित कर दिया गया है। केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने गैरकानूनी गतिविधियां रोकथाम अधिनियम के तहत एमएलजेके-एमए पर प्रतिबंध लगाने की घोषणा की। केंद्रीय गृह मंत्री शाह ने एक्स पर एक पोस्ट में लिखा कि यह संगठन और इसके सदस्य जम्मू-कश्मीर में राष्ट्र-विरोधी और अलगाववादी गतिविधियों में शामिल हैं, आतंकवादी गतिविधियों का समर्थन करते हैं और लोगों को जम्मू-कश्मीर में इस्लामी शासन स्थापित करने के लिए उकसाते हैं।
गृह मंत्री ने आगे कहा कि पीएम नरेंद्र मोदी सरकार का संदेश जोरदार और स्पष्ट है कि हमारे राष्ट्र की एकता, संप्रभुता और अखंडता के खिलाफ काम करने वाले किसी भी व्यक्ति को बख्शा नहीं जाएगा और उसे कानून के पूर्ण प्रकोप का सामना करना पड़ेगा।”
कौन है मसरत आलम?
द हिंदू के मुताबिक, मसरत आलम साल 2010 में घाटी में हुए प्रो-आजादी प्रोटेस्ट के मुख्य आयोजकों में से एक था। उस दौरान के विरोध प्रदर्शनों के बाद आलम को कई अन्य नेताओं के साथ गिरफ्तार किया गया था। साल 2015 में रिहा कर दिया गया था। इसके बाद ही पीडीपी और बीजेपी के गठबंधन में दरार आई थी।