सुविचार: गुस्सा बारिश की तरह क्षणिक हो पर स्नेह हवा की तरह सर्वत्र हो

गुस्सा और मतभेद बारिश के समान होनी चाहिए, जिनके रहने का न कोई निश्चित समय होता…