
छत्तीसगढ़ विधानसभा के बजट सत्र के 12वें दिन प्रश्नकाल के दौरान नेता प्रतिपक्ष डॉ. चरणदास महंत ने भारतमाला परियोजना में गड़बड़ी को लेकर प्रश्न किया। उन्होंने पूछा- 13 मूल खाताधारकों के खसरे को 54 टुकड़ों में बांटा गया। एक गांव में एक मूल खसरे को 4 टुकड़े किए गए, तीसरे गांव में चार मूल खसरे को 33 टुकड़े किए गए।
नेता प्रतिपक्ष ने रायपुर के अभनपुर तहसील के चार गांवों के मुआवजा प्रकरण पर प्रश्न उठाया है, उसमें लगभग 43 करोड़ 19 लाख का आर्थिक नुकसान केंद्र सरकार को कराया गया। मंहत ने कहा, राजस्व मंत्री ने ये सब बातें स्वीकार की है। दो अधिकारियों को सस्पेंड किया गया है। बहुत बड़ा प्रश्न है, आपसे निवेदन है कि सीबीआई से जांच करा दीजिए. मंत्री जी और मुख्यमंत्री जी से अनुरोध है।
राजस्व मंत्री ने जवाब देते हुए कहा कि भारतमाला परियोजना में गड़बड़ी हुई है. दो तीन तरह की गड़बड़ी हुई है। अधिसूचना जारी होने के बाद रकबे का टुकड़ा किया गया। जमीन एक बार अधिग्रहित की गई थी उसे दोबारा भूअर्जन किया गया, जिसे मुआवजा मिलना था उसे ना देकर दूसरे को मुआवजा दिया गया।
नेता प्रतिपक्ष ने कहा, ट्रस्ट को मुआवजा ना देकर निजी व्यक्ति को मुआवजा दिया गया। इस पर अभी भी शिकायतें आ रही है। कई लोगों पर कार्रवाई की गई है। इसी गड़बड़ी को रोकने हमारी सरकार ने नए नियम बनाए हैं। मामले में जांच की जा रही है, कार्रवाई भी जारी है।
नेता प्रतिपक्ष चरण दास महंत ने मंत्री के गड़बड़ी को मानने पर धन्यवाद दिया। उन्होंने कहा जिन जिन अधिकारियों ने गड़बड़ी की है उनके खिलाफ एफआईआर दर्ज कराकर जेल भेजा जाए। सीबीआई से जांच करना स्वीकार कर लें, जांच भी हो जाएगी और आने वाले लोग सतर्क भी हो जाएंगे, मुख्यमंत्री जी से अनुरोध है।
राजस्व मंत्री ने कहा कि नेता प्रतिपक्ष की शिकायत गंभीर है. दोषी अधिकारियों पर कार्रवाई भी हो रही है, विश्वास दिला रहा हूं जो दोषी होगा उसे बख्सा नहीं जाएगा। इस पर विधानसभा अध्यक्ष रमन सिंह ने टोका और कहा कि नेता प्रतिपक्ष सीबीआई जांच की मांग कर रहे हैं, उस पर जवाब दीजिए।
मंत्री टंकराम ने कहा कि संभागाध्यक्ष से जांच कराई जाएगी। जिस पर सीएम विष्णुदेव साय ने कहा कि राजस्व मंत्री ने बहुत अच्छा जवाब दिया है, कुछ कमी होगी तो बताइए उस पर कार्रवाई होगी। साय ने कहा कि पिछले कांग्रेस कार्यकाल में सीबीआई को बैन किया गया था।
महंत ने कहा कि हमने सीबीआई को बैन किया था लेकिन आपकी सरकार में फिर से सीबीआई जांच हो रही है। इसलिए आपसे ये मांग है कि भारतमाला परियोजना में गड़बड़ी की सीबीआई जांच करा दें। विधायकों की समिति बनाकर जांच करा लें जिस पर मंत्री टंकराम वर्मा ने कहा कि संभाग आयुक्त से जांच कराई जाएगी। जिसके बाद सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच तीखी नोकझोंक हुई। शोरगुल के बीच मंत्री के जवाब से असंतुष्ट होकर नेता प्रतिपक्ष ने हाईकोर्ट जाने का ऐलान इसी के साथ विपक्ष ने वॉकआउट कर दिया।