मध्य प्रदेश में लोकसभा चुनाव के लिए भाजपा सभी 29 सीटों पर प्रत्याशी उतार चुकी है, जबकि कांग्रेस ने अभी तक अपने 22 प्रत्याशियों के नाम की घोषणा की है। कांग्रेस ने प्रदेश में नए चेहरों पर दांव लगाया है। बालाघाट से सम्राट सारस्वत और जबलपुर से दिनेश यादव पर भरोसा जताया है। सागर से चंद्रभूषण सिंह गुड्डू राजा बुंदेला को प्रत्याशी बनाया है। रीवा से नीलम अभय मिश्रा को उतारा है। नीलम सेमरिया से कांग्रेस विधायक अभय मिश्रा की पत्नी हैं। होशंगाबाद से पूर्व विधायक संजय शर्मा को मैदान में उतारा है तो भोपाल से जिला ग्रामीण कांग्रेस अध्यक्ष अरुण श्रीवास्तव को प्रत्याशी बनाया है।
कांग्रेस ने उज्जैन के तराना से विधायक महेश परमार, मंदसौर से पूर्व विधायक दिलीप सिंह गुर्जर और इंदौर से अक्षय बम को प्रत्याशी बनाया है। पहली सूची में फूल सिंह बरैया, सिद्धार्थ कुशवाहा और ओंमकार सिंह मरकाम को टिकट दिया गया था। पूर्व मुख्यमंत्री दिग्विजय सिंह फिर 33 वर्ष बाद राजगढ़ से लोकसभा चुनाव लड़ेंगे। वहीं, रतलाम सीट से कांतिलाल भूरिया को प्रत्याशी बनाया है। गुना सीट समेत छह सीटों के प्रत्याशियों के नाम अभी घोषित नहीं किए गए हैं। इन सीटों पर भी कांग्रेस अपने विधायकों को उतारने की तैयारी कर रही है।
प्रदेश में अधिकांश सीटों पर नए चेहरे या विधायकों को उतारे जाने पर भाजपा ने तंज कसा है। भाजपा ने कहा कि विधानसभा चुनाव में करारी हार और जनता का भाजपा की ओर रुझान देखकर प्रदेश में कांग्रेस को चुनाव लड़ने के लिए प्रत्याशी नहीं मिल रहे हैं। कांग्रेस का यही हाल राष्ट्रीय स्तर पर है। सोनिया गाँधी से लेकर हर बड़ा चेहरा लोकसभा चुनाव लड़ने से भाग रहे हैं।