
विधानसभा चुनाव के समय फिर झीरम का जिन्न निकल आया है। पूर्व मंत्री और भाजपा प्रवक्ता राजेश मूणत ने कांग्रेस से पूछा है कि झीरम का सबूत कहा हैं? सीएम भूपेश बघेल ने विधानसभा में दावा किया था उनके पास झीरमकांड के सबूत हैं। मूणत ने कहा कि भूपेश अपने ही पार्टी के नेताओं पर राजनीति कर रहे हैं। अगर ऐसा नहीं है तो आपने झीरम के सबूत सार्वजनिक क्यों नहीं किए? कांग्रेस को इसके लिए उनको सार्वजनिक माफी मांगनी चाहिए। इसमें आपको गंगाजल रखकर कसम खाने की जरूरत नहीं है।
बस्तर जिले के झीरम घाटी में खूनी खेल खेलते हुए नक्सलियों ने 25 मई 2013 को देश के सबसे बड़े राजनीतिक हत्याकांड को अंजाम दिया था। कांग्रेस की परिवर्तन यात्रा पर किए गए हमले में छत्तीसगढ़ में कांग्रेस के शीर्ष नेतृत्व सहित 33 लोगों की नक्सलियों ने निर्ममता से हत्या कर दी थी। इस घटना के बाद से ही कांग्रेस और भाजपा के बीच आरोप-प्रत्यारोपों का दौर जारी है। 10 साल पहले हुए इस हत्याकांड की कई बार जांच हुई, लेकिन आज तक असली आरोपी सामने नहीं आया। मगर, हर चुनाव में यह मुद्दा सामने आ जाता है।