छत्तीसगढ़ की राजधानी रायपुर का हाल यह है कि अधिकांश टैफिक सिग्नल बंद पड़े हैं। इन सिग्नलों का ऐसा हाल इसलिए है, क्योंकि विभाग के जिम्मेदार अधिकारियों ने न तो इसकी सूध ली और ही मेंटेनेंस करवाना जरूरी समझा। नतीजा यह है कि वाहन चालक चौराहों पर बेलगाम गाड़ी हांक रहे हैं। उनको न अपने जान की परवाह है और न ही दूसरों की। यही कारण है कि राजधानी के इन चौक-चौराहों पर अक्सर हादसे हो रहे हैं।
रायपुर की ट्रैफिक व्यवस्था बनाए रखने के लिए हर साल करोड़ों रुपये खर्च किए जाते हैं। इसके लिए शहर के चौक-चौराहों पर आधुनिक ट्रैफिक सिग्नल, ITMS कैमरे आदि यातायात पुलिस द्वारा लगाए जाते हैं, लेकिन इनका मेंटेनेंस और देखरेख के अभाव के कारण कई ट्रैफिक सिग्नल ख़राब होकर बंद पड़ गए हैं। इसकी वजह से उन सड़क मार्गो पर ट्रैफिक जाम लगना शुरू हो गया है। ट्रैफिक सिग्नल नहीं होने की वजह से सड़क दुर्घटना का खतरा भी बढ़ गया है।