अंतरराष्ट्रीय न्यायालय ने रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन की गिरफ्तारी के लिए वारंट जारी किया है। यह वारंट यूक्रेन में युद्ध अपराधों और यूक्रेनी बच्चों को अगवा कर रूस ले जाने के मामलों में जारी हुआ है। न्यायालय ने कहा है कि यूक्रेन में जिस तरह की अमानवीय घटनाएं हुई हैं उनके लिए पुतिन जिम्मेदार हैं।
बच्चों के अपहरण मामले में न्यायालय ने रूस की बाल अधिकार मामलों की आयुक्त मारिया एलेक्सयेवना के खिलाफ भी वारंट जारी किया है। अंतरराष्ट्रीय न्यायालय के इस निण्रय की रूस ने निंदा की है तो यूक्रेन ने इसका स्वागत किया है। रूस के विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता मारिया जखारोवा ने कहा है कि अंतरराष्ट्रीय न्यायालय के निर्णय का हमारे देश से कोई मतलब नहीं है। इस निर्णय का न कोई कानूनी आधार है और न ही वैधता है।
पुतिन दुनिया के तीसरे ऐसे राष्ट्रपति हैं जिनके पद पर रहने के दौरान गिरफ्तारी के लिए वारंट जारी हुआ है। उनसे पहले अंतरराष्ट्रीय न्यायालय ने सूडान के राष्ट्रपति ओमर अल-बशीर और लीबिया के राष्ट्रपति मुअम्मर गद्दाफी की गिरफ्तारी का वारंट जारी किया था। इस वारंट के जारी होने का मतलब यह है कि अब अगर पुतिन न्यायालय को मान्यता देने वाले किसी भी देश की यात्रा करते हैं तो उन्हें वहां पर गिरफ्तार किया जा सकता है। उन्हें हेग स्थित अंतरराष्ट्रीय न्यायालय के समक्ष पेश किया जा सकता है।