रायपुर। आज प्रदेश में बढ़ते कोविड मामलों को देखते हुए आज मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने कोरोना संक्रमण से बचाव और उपचार की समीक्षा कर रहे है। मुख्यमंत्री निवास में वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से चल रही समीक्षा बैठक में गृह मंत्री ताम्रध्वज साहू, स्वास्थ्य मंत्री टी एस सिंहदेव, कृषि मंत्री रविन्द्र चौबे, वन मंत्री मोहम्मद अकबर, महिला एवं बाल विकास मंत्री अनिला भेड़िया, खाद्य मंत्री अमरजीत भगत, उद्योग मंत्री कवासी लखमा, राजस्व मंत्री जय सिंह अग्रवाल वीडियो कांफ्रेंसिंग से जुड़े।
मुख्यमंत्री भूपेश बघेल ने आज कलेक्टरों को बैठक में इस बात के निर्देश दिये हैं । मुख्यमंत्री भूपेश बघेल कोरोना के मुद्दे पर सीएम हाउस में अफसरों की बड़ी बैठक ली । ये है मुख्य बिन्दु:
छत्तीसगढ़ के नगरीय क्षेत्र को फिर से बंद किया जायेगा । हालांकि पिछली बार के लॉकडाउन से इसका स्वरूप बदला हुआ होगा । खबर है कि लॉकडाउन के बजाय इस दफा नगरीय क्षेत्र को कंटेनमेंट जोन घोषित कर बंद किया जायेगा । मतलब वार्डों में मरीजों के हिसाब से बंद किया जायेगा ।
बैठक में मरीजों की संख्या,उपचार की व्यवस्था,बेड की संख्या, उपचार के तरीके, डाक्टरों की उपलब्धता,होम आइसोलेशन की सुविधा, दवा और किट के इंतजाम सहित कई अन्य बिंदुओं पर चर्चा की जा रही है। बैठक में लॉकडाउन को लेकर भी चर्चा हुई। अधिकारियों से बातचीत के बाद निर्णय लिया गया है कि संपूर्ण लॉकडाउन के बजाय जिलों के नगरीय क्षेत्र में वार्डों के आधार पर कंटेनमेंट जोन घोषित किया जाये। मतलब जिन वार्डों को कंटेनमेंट जोन घोषित किया जायेगा, वहां उद्योगों को छोड़ सभी तरह के व्यावसायिक प्रतिष्ठान बंद कर दिये जायेंगे। इस फैसले के लिए कलेक्टर को अधिकृत कर दिया गया है।
कंटेनमेंट जोन घोषित होने के बाद सभी तरह की दुकानें बंद हो जायेगी,शर्तों के साथ सिर्फ दूध की दुकानें खुलेगी , वहीं बैंक,दवा,पेट्रोल पंप,गैस एजेंसी,मीडिया सहित कुछ अति आवश्यक सेवा को ही इससे छूट दी जायेगी । कैसा होगा इस बार का लॉकडाउन पिछली बार की तरह ही इस दफा भी लॉकडाउन होगा,लेकिन केंद्र के नियमों से बंधे होने की वजह से लॉकडाउन के बजाय उसे कंटेनमेंट जोन घोषित कर लॉक किया जायेगा। मतलब पिछली दफा की तरह पूरे नगरीय क्षेत्र को बंद नहीं किया जायेगा, बल्कि वार्डों के हिसाब से कंटेनमेंट जोन घोषित कर लॉकडाउन किया जायेगा, या फिर कलेक्टर चाहें तो संपूर्ण नगरीय क्षेत्र को भी कंटेनमेंट जोन घोषित कर शहर को लॉक करने का आदेश दे सकते हैं। मतलब बंद करने का पूरा का पूरा अधिकार अब कलेक्टर को होगा। कलेक्टर इस बात का फैसला करेंगे कि क्या पूरे नगरीय क्षेत्र को बंद कर दिया जाये या फिर वार्डों के आधार पर बंद किया जाये।
मुख्यमंत्री बघेल ने वीडियो कांफ्रेंसिंग के माध्यम से सभी कमिश्नर, कलेक्टर, आईजी,जिला पंचायतों के सीईओ,नगर निगम के आयुक्तों और मुख्य स्वास्थ्य एवं चिकित्सा अधिकारियों से बैठक में जिलेवार अस्पतालों, कोविड सेंटर और आइसोलेशन केंद्रों में उपलब्ध और ओक्यूपाइड बिस्तरों की संख्या, सिंप्टोमेटिक और एसिंप्टोमेटिक मरीजों की संख्या, जिलेवार प्रतिदिन औसत टेस्ट क्षमता, जांच रिपोर्ट में लगने वाले समय, रैपिड टेस्ट और आर टी पी सी आर टेस्ट की संख्या, पिछले 7 दिनों का दैनिक विवरण, दोनों प्रकार के टेस्टों के परिणामों, ऑक्सीमीटर की उपलब्धता, आवश्यक दवाओं की उपलब्धता, आईसीयू और वेंटिलेटर की उपलब्धता, कंट्रोल रूम और हेल्पलाइन की कार्यप्रणाली की जानकारी ली है।
मुख्यमंत्री निवास से मुख्य सचिव आर पी मंडल, मुख्यमंत्री के अपर मुख्य सचिव सुब्रत साहू, स्वास्थ्य विभाग की अपर मुख्य सचिव रेणु पिल्लई, स्वास्थ्य विभाग के वरिष्ठ अधिकारी सहित मुख्यमंत्री सचिवालय की उप सचिव सौम्या चौरसिया शामिल हुई।