
अंबिकापुर; 16 जुलाई 2024: जिले के उदयपुर ब्लॉक में स्थित केते एक्सटेंशन कोल परियोजना की जनसुनवाई के समर्थन में प्रभावित गांवों के ग्रामीणों ने सोमवार को सरगुजा कलेक्टर और क्षेत्रीय पर्यावरण अधिकारी को ज्ञापन सौंपा। ग्राम परसा, साल्ही, हरिहरपुर इत्यादि गांव से आए 20 ग्रामीणों के समूह ने अपने 100 से अधिक ग्रामीणों के हस्ताक्षरित ज्ञापन 15 जुलाई 2024 को अंबिकापुर कलेक्टर और क्षेत्रीय पर्यावरण कार्यालय में सौंपा। ग्राम परसा की मीरा बघेल, सरपंच झल्लूराम सहित अन्य ग्रामीणों ने बताया, “हम सभी ग्रामवासी 2 अगस्त 2024 को केते एक्सटेंशन के लिए हमारे गांव परसा में होने वाली पर्यावरणीय जन सुनवाई का समर्थन करते हैं और इसे तय समय में पूरी कराने की मांग करते हैं।”
ज्ञापन में ग्राम परसा, घाटबर्रा, हरिहरपुर, जनार्दनपुर इत्यादि गांव के ग्रामीणों ने लिखा है कि राजस्थान राज्य विद्युत की कोयला खदान जब से हमारे क्षेत्र में खुली हैं, तब से नौकरी और स्वरोजगार सहित गावों में शिक्षा, स्वास्थ्य, ढांचागत विकास के कई कार्यक्रम संचालित हैं। इससे हमें विकास की मुख्यधारा से जुड़ने का मौका मिला है। साथ ही उक्त परियोजना के जन सुनवाई से हम समस्त जन प्रतिनिधि एवं ग्रामवासी चाहते हैं कि परियोजना आए और क्षेत्र के लोगों को मूलभूत सुविधा उपलब्ध कराए जिससे क्षेत्र का बहुमुखी विकास हो सके। केते एक्सटेंशन कोल ब्लॉक का भविष्य में संचालन होने से यहां हजारों लोगों को नौकरी एवं स्वरोजगार के साथ शिक्षा, स्वास्थ्य तथा अन्य मूलभूत सुविधाओं का विस्तार होगा। हमारे बच्चों की निःशुल्क शिक्षा की व्यवस्था के लिए सीबीएसई अंग्रेजी माध्यम का स्कूल स्थापित होगा, जिससे वे गुणवत्ता पूर्ण शिक्षा ग्रहण कर सकेंगे। वहीं स्वास्थ्य हेतु अस्पताल की स्थापना भी की जाएगी, जिसके अंतर्गत हम ग्रामवासियों का निःशुल्क उपचार हो सकेगा।
किन्तु कुछ बाहरी तथाकथित एनजीओ द्वारा गांव के सीधे-साधे ग्रामवासियों को बहलाकर जन सुनवाई के विरोध में प्रशासन के समक्ष आवेदन प्रस्तुत करने की जानकारी प्राप्त हुई है, जो कि पूर्णतः गलत है। हम ग्रामवासियों का परियोजना के पर्यावरणीय स्वीकृति हेतु सुनवाई के लिए किसी प्रकार का कोई विरोध नहीं है। ग्रामीणों ने केते एक्सटेंशन कोल ब्लॉक के पर्यावरणीय स्वीकृति हेतु होने वाली जन सुनवाई का शांतिपूर्ण तरीके से आयोजन कराने की मांग की है।
उल्लेखनीय है कि इसके पूर्व भी इन ग्रामीणों द्वारा राजस्थान राज्य विद्युत की वर्तमान में संचालित परसा ईस्ट केते बासेन (पीईकेबी) कोयला खदान के निर्बाध संचालन तथा परसा कोल ब्लॉक (पीसीबी) को शुरू कराने का ज्ञापन वर्ष 2021 के मार्च से वर्तमान वर्ष 2024 के जुलाई महीने तक कई तिथियों में मुख्य मंत्रियों और उच्चाधिकारियों को सौंपा गया है।
अब अगर वर्तमान वर्ष की बात करें तो 11 जनवरी को पीईकेबी पुनः खोलने का अनुरोध सरगुजा कलेक्टर से, 13 फरवरी को पीईकेबी के निर्बाध संचालन तथा पीसीबी कोयला खदान खोलने का अनुरोध सांसद राहुल गांधी से, 18 जून को ग्राम घाटबर्रा के प्रस्तावित विशेष ग्राम सभा पुनर्वास एवं पुनर्व्यवस्थापन का समर्थन करने के संबंध में सरगुजा कलेक्टर से, 13 जुलाई को पीईकेबी के निर्बाध संचालन तथा पीसीबी कोयला खदान खोलने का अनुरोध छत्तीसगढ़ के मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय से और 15 जुलाई को केते एक्सटेंशन कोल ब्लॉक की पर्यावरणीय स्वीकृति के लिए जन सुनवाई का समर्थन करने के संबंध में सरगुजा कलेक्टर एवं क्षेत्रीय पर्यावरण अधिकारी को ज्ञापन सौंपा गया।