कांग्रेस ने शुक्रवार को लोकसभा चुनाव 2024 के लिए घोषणा पत्र जारी कर दिया है। कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खड़गे और पूर्व अध्यक्ष राहुल गांधी नई दिल्ली में अखिल भारतीय कांग्रेस समिति मुख्यालय में घोषणा पत्र जारी किया।
पार्टी ने अपने घोषणा पत्र में पांच न्याय शामिल किया है। इसमें युवा न्याय, नारी न्याय, किसान न्याय, श्रमिक न्याय और हिस्सेदारी न्याय का जिक्र है। कांग्रेस का कहना है कि हम मिलकर इस अन्याय काल के अंधेरे को दूर करेंगे और भारत के लोगों के लिए एक समृद्ध, न्याय से भरे और सामंजस्यपूर्ण भविष्य का रास्ता बनाएंगे। वहीं घोषणा पत्र में देशवासियों को 25 गारंटी दी है।
बता दें कि, घोषणा पत्र ‘पांच न्याय और 25 गारंटी’ पर आधारित है। घोषणा-पत्र में 30 लाख सरकारी नौकरियां देने का वादा भी किया गया है।
कांग्रेस के राष्ट्रीय मल्लिकार्जुन खड़गे ने कहा कि हमारा घोषणा पत्र गरीबों को समर्पित है। गरीब महिलाओं को एक लाख की मदद दी जाएगी। जबकि युवा न्याय के अतंर्गत 30 लाख सरकारी नौकरियां दी जाएंगी। वहीं किसानों का कर्ज माफ किया जाएगा।
कांग्रेस ने अपने घोषणा पत्र में 50 प्रतिशत आरक्षण की सीमा को हटाने का फैसला किया है।
मनरेगा में मजदूरी 400 रुपए किया जाएगा।
राष्ट्रव्यापी सामाजिक-आर्थिक और जाति जनगणना कराएगी।
अनुसूचित जाति, अनुसूचित जनजाति और अन्य पिछड़ा वर्ग के लिए आरक्षण पर 50 प्रतिशत की सीमा बढ़ाने के लिए एक संवैधानिक संशोधन पारित करेगी।
राष्ट्रीय सामाजिक सहायता कार्यक्रम के तहत सीनियर नागरिकों, विधवाओं और दिव्यांगों के लिए पेंशन में केंद्र सरकार का योगदान 200 रुपये से 500 रुपये प्रति माह है। कांग्रेस का कहना है कि कांग्रेस इस राशि को बढ़ाकर 1,000 रुपये प्रति माह किया जाएगा.।
स्वास्थ्य देखभाल के लिए 25 लाख रुपए तक कैशलेस बीमा का राजस्थान मॉडल अपनाया जाएगा।
कांग्रेस डॉक्टरों और अन्य स्वास्थ्य पेशेवरों के खिलाफ हिंसा के कृत्यों को अपराध बनाने के लिए एक कानून पारित करेगी।
आर्थिक रूप से कमजोर वर्गों (EWS) के लिए नौकरियों और शैक्षणिक संस्थानों में 10 प्रतिशत का आरक्षण बिना किसी भेदभाव के सभी जातियों और समुदायों के लिए लागू किया जाएगा।
एक साल के अंदर एससी, एसटी और ओबीसी के लिए आरक्षित पदों की सभी बैकलॉग रिक्तियों पर भर्ती।
कांग्रेस सरकार और सार्वजनिक क्षेत्र के उद्यमों में नियमित नौकरियों की संविदा व्यवस्था को खत्म कर देगी।
घर-निर्माण, व्यवसाय शुरू करने और संपत्ति खरीदने के लिए एससी और एसटी को संस्थागत ऋण बढ़ाया जाएगा।
भूमि सीमा अधिनियम के तहत गरीबों को सरकारी भूमि और अधिशेष भूमि के वितरण की निगरानी के लिए एक प्राधिकरण की स्थापना की जाएगी।
एससी और एसटी समुदायों से संबंधित ठेकेदारों को ज्यादा सार्वजनिक कार्य कॉन्ट्रैक्ट देने के लिए पब्लिक खरीद पॉलिसी का दायरा बढ़ाया जाएगा।
ओबीसी, एससी और एसटी छात्रों के लिए स्कॉलरशिप की धनराशि दोगुनी की जाएगी, खासकर हाइयर एजुकेशन के लिए। एससी और एसटी छात्रों को विदेश में पढ़ने में सहायता और उनके लिए पीएचडी करने के लिए स्कॉलरशिप की संख्या दोगुनी की जाएगी।
गरीबों, एससी और एसटी छात्रों के लिए आवासीय विद्यालयों का एक नेटवर्क बनाया जाएगा और इसे हर ब्लॉक तक बढ़ाया जाएगा।