पाकिस्तान अपनी हरकतों से बाज नहीं आ रहा है। जम्मू-कश्मीर में कठुआ के सीमांत क्षेत्र हीरानगर स्थित अंतरराष्ट्रीय सीमा से पाक से भेजे ड्रोन में विस्फोटक भेजने की साजिश नाकाम कर दी गई। ड्रोन के साथ सात मैग्नेटिक बम व सात यूबीजीएल हथगोले बांधे थे। पुलिस इस आशंका से भी इन्कार नहीं कर रही है कि विस्फोटक का इस्तेमाल अमरनाथ यात्रा को निशाना बनाने के लिए हो सकता था।
हीरानगर स्थित अंतराष्ट्रीय सीमा पर हरियाचक डिल्ली गांव में कुछ ग्रामीणों ने एक ड्रोन को उड़ते देखा। ड्रोन के साथ कुछ बंधा हुआ था। उन्हें शक हो गया। उन्होंने तुरंत पुलिस को सूचित किया। गांव से सरहद करीब तीन किमी दूर है। पुलिस टीम ने कुछ ही समय में मौके पर पहुंच कर ड्रोन पर गोलीबारी कर उसे मार गिराया। इसके ड्रोन काफी देर तक खेत में पड़ा रहा। पुलिस के अधिकारी और जवानों ने क्षेत्र की घेराबंदी कर ली। जम्मू से बम निरोधक दस्ते को भी मौके पर बुलाया गया। पूरी जांच पड़ताल करने के बाद पाया कि ड्रोन के साथ बंधा सामान विस्फोटक है। बम निरोधक दस्ते ने किसी पैकेट में बंधे विस्फोटक को खोला तो उसमें सात मैग्नेटिक स्टिकी बम और सात यूजीबीएल ग्रेनेड थे। पुलिस ने ड्रोन को जब्त कर लिया। जिला पुलिस प्रमुख रमेश चंद्र कोतवाल ने कहा कि कुछ दिनों से सीमा पर मजबूत किए गए सुरक्षा ग्रिड का नतीजा है कि इतनी बड़ी सफलता पुलिस को मिली है। स्थानीय सतर्क गाांववासियों के सहयोग से साजिश्ा को भी नाकाम बनाया गया है। उन्होंने इस साजिश को अमरनाथ यात्रा में खलल डालने के प्रयास को जोड़कर होने से इनकार नहीं किया है।
14 मई को भी जम्मू के आरएस पुरा के अरनिया सेक्टर में भारत-पाक अंतरराष्ट्रीय सीमा के पास भारतीय इलाके में पाकिस्तानी ड्रोन देखा गया था। सीमा पर चौकस बीएसएफ के जवानों ने इसे देखते ही फायरिंग शुरू कर दी थी, जिससे ड्रोन पाकिस्तान लौट गया था। पाकिस्तान की ओर से जुलाई, 2020 में भी हीरानगर में हथियार लेकर आ रहे एक ड्रोन को मार गिराया था।