चीन ने अन्य पड़ोसी देशों की ही तरह अफगानिस्तान के खनिजों और अन्य संसाधनों को निचोड़ने की तैयारी कर ली है। खरबों डालर मूल्य के दुलर्भ पदार्थों की तलाश्ा में विश्ोष वीजा पर एक चीनी प्रतिनिधिमंडल अफगानिस्तान पहुंच चुका है। लीथियम परियोजनाओं के लिए उसने संभावित क्षेत्रों का मौका-मुआयना भी शुरू कर दिया है।
चीन के सरकारी अखबार ग्लोबल टाइम्स की रिपोर्ट के अनुसार पांच चीनी कंपनियां विशेष वीजा पर अफगानिस्तान के चाइनाटाउन में पहुंच चुकी हैं। जबकि कुल बीस चीनी सरकारी और निजी कंपनियां मिलकर इस निरीक्षण अभियान की शुरुआत से ही विभिन्न् स्थलों का दौरा करके वहां के खनिजों का अध्ययन जारी है। इन चीनी कंपनियों की समिति के निदेशक यू मिंगघुई का कहना है कि चीन तालिबान का प्रमुख साझीदार बनने की कोशिश में है। विशेषज्ञों का कहना है कि चीन अफगानिस्तान की खनिज संपदा पर आंख गड़ाए बैठा है और किसी भी सूरत में इन संसाधनों से भारत को दूर रखना चाहता है।