EKhabri (प्रीति शुक्ला)। हमारे शास्त्रो में अन्न का बड़ा महत्व है। अन्न को माता का दर्ज़ा दिया गया है ताकी हम उसकी इज्जत करें। एक बात जो मुझे सबसे बुरी लगती है वो है लोगो कि थाली में ज्यादा खाना लेना और फैकने की आदत।
इस संसार में कितने ऐसे लोग हैं जिन्हे खाना देखना तक नसीब नहीं होता। और वही कुछ लोग जबदस्ती खाना थाली में भर लेते हैं और बड़ी ही आसानी से फेंक देते है।
खासकर ये आदत बच्चों में शुरू से डालनी चाहिए कि वो थाली मे उतना ही खाना ले जितना खा सकें। भले ही उन्हे खाना दोबारा लेना पड़े। आखिर हम सब दिन रात जो इतनी मेहनत करते हैं उसका सारांश तो यही है जीवन की मूलभूत जरुरते पूरी की जा सकें। इसलिये ये बहुत आवश्यक है कि हम भोजन का अपमान ना करें।