सुकमा जिले में रविवार सुबह नक्सलियों से मुठभेड़ में डिस्ट्रिक्ट रिजर्व गार्ड (डीआरजी) के दो जवान जख्मी हो गए हैं। डीआरजी की टीम सुबह केरलापाल के जंगलों में नक्सलियों की तलाश कर रही थी, तभी चिचोरगुड़ा गांव के पास घात लगाए नक्सलियों ने फायरिंग शुरू कर दी। जवानों ने भी जवाबी ने भी मोर्चा संभालते हुए जवाबी फायरिंग की। इसके बाद नक्सली भाग गए। इस दौरान दो जवान घायल हो गए। हालांकि जवानों को गोली नहीं लगी है, बल्कि मामूली चोटें आई हैं। दोनों जवानों को जिला अस्पताल में दाखिल किया गया है।
सुकमा जिले में नक्सलियों ने देश की पहली नक्सल बटालियन बनाई है। यह इलाका दुर्दांत नक्सल कमांडर हिड़मा के कार्यक्षेत्र में आता है। सुकमा और बीजापुर जिले की सीमा में स्थित जोन्नागुड़ा में पिछले साल अप्रैल में नक्सलियों से मुठभेड़ में 22 जवान शहीद हुए थे। इसी इलाके में 2010 में ताड़मेटला मुठभेड़ में सीआरपीएफ के 76 जवान शहीद हुए थे। यहां हिंसक वारदातों का लंबा इतिहास है। हाल के वर्षों में फोर्स अंदरूनी इलाकों तक पहुंचने में सफल हुई है। नक्सलियों पर दबाव बढ़ा है फिर भी यहां गाहे बगाहे फायरिंग की घटना होती रहती है। रविवार को जिस जगह मुठभेड़ हुई है वहां फोर्स की अतिरिक्त टुकड़ी को रवाना किया गया है।