एक ताजा शोध में पता चला है कि मानसिक स्वास्थ्य और अटेंशन-डेफिसिट हाइपरऐक्टिव डिसआर्डर (एडीएचडी) के बीच गहरा संबंध है। ब्रिटेन के बाथ यूनिवर्सिटी के मनोविज्ञानियों ने दावा किया है कि एडीएचडी आस्टिस्टिक लक्षणों के साथ अवसाद और तनाव का कारण बनता है।
बाथ यूनिवर्सिटी के विज्ञानियों के अनुसार, आटिज्म जैसे अन्य न्यूरोडेवलपमेंटल स्थिति की अपेक्षा एडीएचडी मानसिक स्वास्थ्य को अधिक खराब करता है। अब तक, अवसाद, चिता और जीवन की गुणवत्ता पर आटिज्म के प्रभाव पर अधिक शोध के साथ मानसिक स्वास्थ्य पर एडीएचडी के प्रभावों के बारे में जानकारी की कमी रही है। शोधकर्ताओं ने उम्मीद जताई है कि एडीएचडी पर उनके निष्कर्ष से नए शोध को बढ़ावा मिलेगा, और अंतत: लोगों को मानसिक स्वास्थ्य की परेशानियों से निपटने में मदद मिल सकेगी।
एडीएचडी एक ऐसी न्यूरोडेवलपमेंटल अवस्था है जो ध्यान, हाइपर गतिविधि और आवेग से संबंधित है। शोधकर्ताओं का आकलन है कि तीन से नौ प्रतिशत आबादी इससे प्रभावित है। शोध का नेतृत्व करने वाले ल्युका हार्जिटल ने कहा कि तनाव और अवसाद को विज्ञानी लंबे समय से आटिज्म से जोड़ते रहे हैं लेकिन एडीएचडी को उपेक्षित करते रहे। इसके साथ ही शोधकर्ता आटिज्म और एडीएचडी के अलग महत्व के लिए संघर्ष करते रहे हैं। एडीएचडी फाउंडेशन के सीईओ डा. टोनी फ्लायड ने कहा कि शोधकर्ताओं के इस निष्कर्ष के लिए स्पष्ट साक्ष्य हैं कि ये मानसिक परेशानियों को बढ़ाने वाले हैं।