छत्तीसगढ़ में पड़ोसी राज्यों के मुकाबले तेंदूपत्ता का मूल्य अधिक मिलने से पड़ोसी राज्य उत्तर प्रदेश के सोनभद्र और झारखंड के गढ़वा जिले के लोग तेंदूपत्ता की तस्करी कर रहे हैं। वन कर्मियों की सांठगांठ से यूपी और झारखंड का तेंदूपत्ता बेचा जा रहा है। बलरामपुर वन विभाग की टीम ने तेंदूपत्ता की तस्करी में लगे आठ लोगों को शनिवार को गिरफ्तार है। इनके पास से 7200 गड्डी तेंदूपत्ता जब्त किया गया। पिछले तेंदूपत्ता सीजन में भी उत्तर प्रदेश व झारखंड सरहद से लगे बलरामपुर जिले के गांवों में तेंदूपत्ता खपाए जाने का मामला सामने आने के बाद इस वर्ष लगातार सीमावर्ती क्षेत्रों में वन विभाग की टीम गश्त कर रही है। फिर भी तस्करी नहीं रुक रही। मुख्यमार्ग बंद होने से अंदरूनी सड़कों से तेंदूपत्ता लाया जा रहा है।
अधिक दाम है तस्करी की वजह तेंदूपत्ता की खरीद मानक बोरा के हिसाब से होती है। एक गड्डी में सौ पत्ते होते हैं। एक मानक बोरा में एक हजार गड्डी तेंदूपत्ता होता है। इसकी दर छत्तीसगढ़ में 4000 रुपये मानक बोरा है। जबकि मध्य प्रदेश में 2500 रुपये, उत्तर प्रदेश में 1800 रुपये व झारखंड में 1680 रुपये प्रति मानक बोरा दर निर्धारित है। छत्तीसगढ़ में पड़ोसी राज्यों से तेंदूपत्ता तस्करी की तमाम कोशिश हमने हमने विफल किया है। जहां भी मामले सामने आ रहे हैं, कडी कार्रवाई की जा रही है।