यूरोपीय संघ (ईयू) ने साफ कर दिया हैै कि वह अफगानिस्तान में तालिबान सरकार को मान्यता नहीं देगा। तालिबानियों से बातचीत केवल वहां फंसे लोगों को निकालने के लिए होगा। ईयू ने तालिबान को चेतावनी दी है कि उसके साथ बातचीत अफगानिस्तान से ज्यादा से ज्यादा लोगों को बाहर निकालने के लिए की जा रही है।
यूरोपीय आयोग की अध्यक्ष उर्सुला वान डेर लेयेन ने माना कि तालिबान के साथ बातचीत जरूरी है। इस मुश्किल घड़ी में हमें काबुल से लोगों को निकालने के लिए बातचीत जारी रखनी है। यह राजनीतिक वार्ता से बिल्कुल अलग है। तालिबान के साथ कोई राजनीतिक बातचीत नहीं चल रही है। तालिबान शासन को मान्यता नहीं दी गई है। अफगानिस्तान को यूरोपीय संघ की तरफ से आगे मानवीय सहायता तालिबान के मानविधारों, खासकर महिलाओं के अधिकारों के प्रति सम्मान पर निर्भर करेगी।
अफगानिस्तान पर रूस-तुर्की समन्वयन मजबूत करेंगे : रूस के राष्ट्रपति व्लादिमीर पुतिन और तुर्की के राष्ट्रपति तैयप एर्दोगन के बीच टेलीफोन पर अफगानिस्तान के हालात को लेकर बातचीत हुई और दोनों ने इस मुद्दे पर समन्वयन मजबूत करने पर सहमति जताई। दोनों ने इस बात पर जोर दिया कि आतंकवाद के खिलाफ लड़ाई और ड्रग तस्करी से निपटने को प्राथमिकता दी जानी चाहिए।